सुल्तानपुर-एक्सईएन संतोष कुमार की हत्या से जुड़ा बड़ा खुलासा: एई अमित कुमार की साजिश और क्रूरता की कहानी

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सुल्तानपुर में जल निगम ग्रामीण के अधिशासी अभियंता संतोष कुमार की हत्या के मामले में चौंकाने वाले खुलासे सामने आए हैं। यह मामला सरकारी विभाग में आंतरिक संघर्ष और व्यक्तिगत दुश्मनी का प्रतीक बन गया है।

साजिश का पर्दाफाश: खुद के खिलाफ शिकायत से नाराज एई अमित कुमार

इस हत्याकांड के पीछे की असल कहानी काफी चौंकाने वाली है। जांच में पता चला है कि जल निगम ग्रामीण के एई (असिस्टेंट इंजीनियर) अमित कुमार ने अपने अधिशासी अभियंता (एक्सईएन) संतोष कुमार की हत्या की साजिश रची थी। यह साजिश तब बनी जब संतोष कुमार ने जल जीवन मिशन में काम कर रही एजेंसी के खिलाफ रिपोर्ट तैयार की और अमित कुमार को उसके पद से हटाने की सिफारिश की। इस लिखित शिकायत से नाराज होकर अमित कुमार ने अपने सहयोगी प्रदीप राम के साथ मिलकर इस घिनौने अपराध को अंजाम देने की योजना बनाई।

हत्या का अमानवीय तरीका: दम घुटने से हुई एक्सईएन की मौत

हत्या के तरीके ने सभी को चौंका दिया है। अमित कुमार अपने साथ टेप लेकर आया था, जिसका इस्तेमाल उसने संतोष कुमार के मुंह को बंद करने में किया। टेप लगाने के बाद उन दोनों ने संतोष की नाक भी बंद कर दी, जिससे उनकी दम घुटने से मौत हो गई। पोस्टमार्टम रिपोर्ट में पुष्टि हुई कि एक्सईएन की मौत दम घुटने के कारण हुई थी। उनके शरीर पर लात-घूंसों के पांच निशान भी पाए गए जो इस बात का सबूत हैं कि हत्या से पहले उन्हें बुरी तरह से प्रताड़ित किया गया था।

दोनों आरोपियों का कबूलनामा: पुलिस मुठभेड़ के बाद गिरफ्तारी

हत्या के बाद पुलिस ने आरोपी अमित कुमार और प्रदीप राम को रविवार की भोर में बिहार के सासाराम जनपद के कौचस छावनी, रोहतास से मुठभेड़ के बाद गिरफ्तार किया। पूछताछ के दौरान दोनों ने हत्या की बात स्वीकार कर ली। पुलिस के मुताबिक, शनिवार की सुबह 6.20 बजे दोनों अभियुक्त एक्सईएन संतोष कुमार के कमरे में दाखिल हुए और करीब ढाई घंटे तक उन्हें प्रताड़ित करते रहे। जब उन्हें यह यकीन हो गया कि संतोष कुमार की मौत हो चुकी है, तभी वे वहां से निकले। उस समय सुबह के 8.50 बजे थे।

दर्दनाक क्षण: बचाव के प्रयास और प्रताड़ना की हदें

पुलिस जांच में यह भी सामने आया कि संतोष कुमार ने अपनी जान बचाने के लिए भरसक प्रयास किया। जब मारपीट के दौरान संतोष ने प्रदीप राम की दाहिनी अंगुली दांत से काट ली तो इससे नाराज अमित ने उनके मुंह पर टेप चिपका दिया और उनके पैर प्लास्टिक की रस्सी से बांध दिए। इस क्रूरता के बाद दोनों ने संतोष पर लात-घूंसे बरसाए, जिसके कारण उनकी मौत हो गई।

चालक की गवाही: घटनास्थल पर मौजूदगी और हिंसा का साक्षी

इस पूरे घटनाक्रम का एक गवाह एक्सईएन संतोष कुमार का चालक संदीप विश्वकर्मा भी था, जिसे अमित ने दही और जलेबी लेने के बहाने बाहर भेजा था। संदीप ने लौटने के बाद आरोपियों को संतोष के साथ क्रूरता करते हुए देखा। प्रारंभिक जांच के दौरान पुलिस ने संदीप को भी संदेह के आधार पर हिरासत में लिया था, लेकिन बाद में उसे छोड़ दिया गया।

सुपरिंटेंडेंट ऑफ पुलिस की पुष्टि: दम घुटने से हुई एक्सईएन की मौत

इस जघन्य हत्या की पुष्टि सुल्तानपुर के पुलिस अधीक्षक सोमेन वर्मा ने भी की। उन्होंने बताया कि अमित कुमार ने एक्सईएन की हत्या में टेप का इस्तेमाल किया और प्रदीप राम के साथ मिलकर इस अपराध को अंजाम दिया। पुलिस की पूछताछ में दोनों ने अपना जुर्म कबूल कर लिया है।

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