सुल्तानपुर में बिजली कटौती और पानी की समस्या को लेकर 19 जून 2001 को आम आदमी पार्टी के सांसद संजय सिंह और समाजवादी पार्टी के पूर्व विधायक अनूप संडा समेत अन्य लोगों ने गभड़िया ओवरब्रिज के उत्तरी छोर के पास सड़क जाम कर विरोध प्रदर्शन किया था। इस प्रदर्शन के दौरान सड़क पर यातायात बाधित हुआ, जिस पर पुलिस ने कार्रवाई करते हुए संजय सिंह, अनूप संडा और अन्य लोगों के खिलाफ केस दर्ज किया था।
मजिस्ट्रेट कोर्ट से तीन माह की सजा और जुर्माना
इस मामले की सुनवाई के बाद 11 जनवरी 2023 को एमपी-एमएलए की विशेष मजिस्ट्रेट कोर्ट ने संजय सिंह, अनूप संडा, शहर कांग्रेस कमेटी के पूर्व प्रवक्ता संतोष चौधरी, पूर्व सभासद कमल श्रीवास्तव, पूर्व नामित सभासद विजय सेक्रेटरी और सुभाष चौधरी को दोषी ठहराया। कोर्ट ने उन्हें तीन-तीन माह की कैद और प्रत्येक को डेढ़-डेढ़ हजार रुपये जुर्माने की सजा सुनाई। इस सजा के खिलाफ दोषियों ने अपील की, जिसे एमपी-एमएलए की विशेष कोर्ट की एडीजे एकता वर्मा ने खारिज कर दिया।
सजा बरकरार, समर्पण के लिए मांगा समय
सजा की अपील खारिज होने के बाद 6 अगस्त को एडीजे ने मजिस्ट्रेट कोर्ट की सजा को बरकरार रखते हुए दोषियों को 9 अगस्त तक अदालत में समर्पण करने का आदेश दिया। शुक्रवार को आप सांसद संजय सिंह और सपा के पूर्व विधायक अनूप संडा ने समर्पण के लिए अतिरिक्त समय की मांग की। संजय सिंह ने राज्यसभा सत्र चलने का हवाला दिया, जबकि अनूप संडा ने अपनी पत्नी की बीमारी का जिक्र करते हुए समर्पण के लिए अन्य तिथि नियत करने की अपील की।
कोर्ट का निर्देश: मामला पीठासीन अधिकारी के सामने पेश होगा
एमपी-एमएलए की विशेष कोर्ट की प्रभारी एसीजेएम मुक्त त्यागी ने इन अपीलों पर विचार करते हुए मामला पीठासीन अधिकारी के सामने पेश होने का आदेश दिया है। अब यह देखना महत्वपूर्ण होगा कि कोर्ट इन दोषियों की समर्पण की अपील पर क्या फैसला लेती है और आगे की कानूनी प्रक्रिया किस दिशा में जाती है।